मुंबई, 16 मई, (न्यूज़ हेल्पलाइन)। मध्यप्रदेश के मंत्री विजय शाह द्वारा कर्नल सोफिया कुरैशी पर की गई कथित आपत्तिजनक टिप्पणी को लेकर विवाद गहराता जा रहा है। इस मामले में सुप्रीम कोर्ट ने फिलहाल सुनवाई टालते हुए अगली तारीख 19 मई तय की है। विजय शाह ने इस मामले में मध्यप्रदेश हाईकोर्ट द्वारा एफआईआर दर्ज करने के दिए गए आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। इसी बीच कांग्रेस ने पूरे प्रदेश में भाजपा सरकार और विवादित मंत्रियों के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। पार्टी के वरिष्ठ नेता लगातार भाजपा पर सेना और महिलाओं के अपमान का आरोप लगा रहे हैं। कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर तीखी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, "पहले मध्यप्रदेश के एक मंत्री ने महिला सैनिकों पर अभद्र टिप्पणी की और अब उपमुख्यमंत्री ने सेना का घोर अपमान किया है। भाजपा इन नेताओं पर कार्रवाई करने के बजाय उन्हें बचा रही है। वह ऐसा करके देशवासियों को क्या संदेश देना चाहती है?"
विपक्ष का हल्लाबोल, भाजपा पर सेना विरोधी मानसिकता का आरोप
मामले को लेकर मध्यप्रदेश विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार के नेतृत्व में कांग्रेस विधायकों का प्रतिनिधिमंडल शुक्रवार को राज्यपाल से मिला और विजय शाह को मंत्रिमंडल से बर्खास्त करने की मांग की। इसके बाद कांग्रेसी विधायक काले कपड़े पहनकर राजभवन के बाहर धरने पर बैठ गए। पुलिस ने उन्हें जबरन हटाकर हिरासत में लिया, हालांकि थोड़ी देर बाद रिहा कर दिया गया। कांग्रेस ने अपने विरोध को और धार देते हुए शनिवार को पूरे प्रदेश में विजय शाह और उपमुख्यमंत्री जगदीश देवड़ा के खिलाफ पुतला दहन कार्यक्रम आयोजित किए। भोपाल में पीसीसी कार्यालय के बाहर पार्टी नेताओं ने दोनों नेताओं के पुतले जलाए और इस्तीफे की मांग की। पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने वीडियो संदेश में कहा कि कांग्रेस इस तरह के बयानबाज नेताओं को बर्दाश्त नहीं करेगी।
भोपाल के मिंटो हॉल में विधायक आरिफ मसूद ने समर्थकों के साथ काले कपड़े पहनकर प्रदर्शन किया, वहीं कुछ कांग्रेस नेता विजय शाह के बंगले के बाहर 'बेशर्म' के पौधे लेकर पहुंचे, जो प्रतीकात्मक विरोध था। इस पूरे घटनाक्रम के बीच कांग्रेस ने भाजपा पर मीडिया को प्रभावित करने का आरोप भी लगाया। पीसीसी कार्यालय में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने दावा किया कि उन्हें सूत्रों से पता चला है कि भाजपा मीडिया संस्थानों को विजय शाह और जगदीश देवड़ा के बयान न चलाने का निर्देश दे रही है। कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य कमलेश्वर पटेल ने कहा कि "विवादित टिप्पणी के दौरान मऊ विधायक उषा ठाकुर समेत कई भाजपा कार्यकर्ता ताली बजा रहे थे। इससे साफ है कि यह बयान अकेले का नहीं, बल्कि सोच का प्रतिनिधित्व करता है। शाह को बर्खास्त न करने के पीछे आदिवासी वोट बैंक की राजनीति है। कांग्रेस का विरोध तब तक जारी रहेगा जब तक इस्तीफा नहीं मिलता।" इस बीच मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि "मामला कोर्ट में है, कांग्रेस को कोर्ट की अवमानना करने का कोई भी मौका नहीं छोड़ना आता।"