बीकानेर, 10 दिसम्बर। प्रभावशाली लोगों द्वारा हड़पी गई जमीन पर दर्ज करवाये गए मुकदमें कार्रवाई नहीं होने से दुखी व्यक्ति ने फांसी लगाकर जान दे देने का मामला सामने आया है। मामला श्रीडूंगरगढ़ कस्बे उपनी गांव का है। जहां अब परिजन व ग्रामीण आरोपियों की गिरफ्तारी, मुआवजा व हड़पी गई जमीन को वापस करने की मांग को लेकर बीकानेर कलेक्ट्रेट परिसर में धरना लगाकर बैठे हैं। साथ ही शव लेने से भी इनकार कर दिया। धरनार्थियों के अनुसार शव फिलहाल डूंगरगढ़ अस्पताल की मोर्चरी में रखा हुआ है और जब तक प्रशासन उनकी मांगों को पूरा नहीं करेगा तब तक धरना जारी रहेगा और शव भी नहीं लिया जाएगा।
धरनार्थियों ने बताया कि उपनी गांव के चेतनराम की जमीन को प्रभावशाली लोगों ने हड़प ली। जिस पर चेतनराम ने 420 की धारा में मुकदमा दर्ज करवाया। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस पर पीडि़त चेतनराम ने डूंगरगढ़ व जिला प्रशासन के बार-बार चक्कर निकाले, कोई न्याय नहीं मिला। उसके बाद एफआईआर में एफआर लग जाने से दुखी चेतनराम ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। जिसका शव डूंगरगढ़ मोर्चरी में रखा हुआ है। धरनार्थियों ने बताया कि उनकी मांग है कि मृतक के आश्रितों को कम से कम 30 लाख रुपए का मुआवजा मिले, उसके परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी दी जाए और हड़पी गई जमीन को वापस दिलाया जाए तथा आरोपियों को गिरफ्तार किया जाए। धरनार्थियों ने बताया कि अगर प्रशासन ये सभी मांगे नहीं मानता है तो पुलिस हैड क्वाटर पर धरना लगाकर आमरण अनशन शुरू करेंगे। जब तक मांगे पूरी नहीं होगी तक तक न धरना समाप्त किया जाएगा और न ही शव लिया जाएगा।